Buland kesari ;- Punjab/ गुरदासपुर जिले में गुरदासपुर पिंडोरी रोड पर गाजीकोट और तिबड़ी इलाकों से गुजरने वाली ऊपरबारी दोआब नहर से बड़े पैमाने पर रेत की चोरी की खबर आई है।नहर के आसपास रहने वाले निवासियों ने बताया कि देर रात नहर से बड़ी संख्या में रेत से भरी टै्रक्टर-ट्रॉलियां आती हैं और रेत भर कर गुरदासपुर शहर की ओर जाती हैं।
Punjab news ;- लेकिन खनन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि अभी तक नहर विभाग की ओर से उनसे कोई शिकायत नहीं की गई है। नहरी विभाग की संपत्ति होने के कारण इसकी जिम्मेवारी नहर विभाग की बनती है, लेकिन देर रात रेत चोरी की सूचना मिलने के बाद खनन विभाग अपने स्तर से लगातार छापेमारी कर रहा है। गत रात ज्वालापुर गांव के पास छापेमारी भी की गयी, लेकिन खननकर्ता मौके पर से भागने में सफल हो गए। खनन विभाग के अधिकारियों मौके पर से खाली टोकरियां आदि बरामद की।
एकत्रित जानकारी के अनुसार गाजीकोट, ज्वालापुर, तिबड़ी व नहर किनारे के अन्य गांवों के पास रात के समय नहर से भारी मात्रा में रेत निकाली जाती है। अंधेरे का फायदा उठाकर रेत खनन माफिया अपने लोगों को टोकरियों में भरकर रेत चोरी करवाते हैं। बाद में वहां से रेत को टै्रक्टर-ट्रॉलियों में भरकर दूसरी जगह भेजा जाता है।
Punjab news ;- फिलहाल नहर में पानी नही छोड़ गया है और खनन माफिया इसी ताक में रहते हैं। पानी बंद होने के कुछ दिन बाद जब पानी पूरी तरह सूख जाता है तो ये रेत चोरी करने वाले लोग अपना काम शुरू कर देते हैं और बड़े पैमाने पर रेत चोरी कर लाखों रुपए कमाते हैं। पहले नहरी विभाग नहरों से रेत निकालने का ठेका देता था, परंतु सरकार ने इस ठेका प्रणाली पर पाबंधी लगा रखी है। Punjab ;- लेकिन नहरों से रेत की चोरी के कारण नहर की गहराई बढ़ जाती है और पानी का प्रवाह अधिक होने से नहर के किनारों के टूटने का खतरा बना रहता है। परिणाम यह होता है कि नहर के किनारे कमजोर होने से यह नहर किनारों पर भूमि कटाव आम बात हो जाती हैं। इसलिए पंजाब व हरियाणा हाइर्कोट ने नहरों से रेत खनन पर पूर्णत: प्रतिबंध लगा रखा हैं।
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